चार बहनों की डूबने से मौत, दो सगी, दो चचेरी बहनें शामिल
संवाद सूत्र। चित्तौड़गढ़ जिले के रावतभाटा क्षेत्र के थमलाव गांव की चार बहनों की पानी से भरे गड्ढ़े में डूबने से मौत हो गई। उनमें दो सगी बहनें, जबकि दो चचेरी बहनें शामिल हैं।
भाई ने गड्ढ़े के पास बहनों की चप्पलें रखी देखकर घटना का पता चला।
मिली जानकारी के अनुसार चारों बहनें खेत में पिकनिक मनाने घर से निकलीं थी। जहां पानी से भरे गड्ढ़े के किनारे जाते समय पैर फिसलने से हादसा हो गया। बहनों को तलाशने निकले भाई ने जब बहनों की चप्पल गड्ढ़े के बाहर देखी तो उसे शंका हुई और उसने परिजनों और ग्रामीणों को सूचना दी। जिस पर ग्रामीणों ने पानी में तलाशा तो चारों बहनों के शव मिल गए। परिजनों की मांग पर मेडिकल टीम ने मौके पर ही पोस्टमार्टम कर शव उनके हवाले कर दिए। घटना की सूचना मिलते ही अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक ज्ञान प्रकाश नवल, उप अधीक्षक झाबरमल यादव, थानाधिकारी राजाराम, उपखंड अधिकारी मुकेश मीणा और तहसीलदार लादू सिंह चौहान भी मौके पर पहुंचे। एडिशनल एसपी ज्ञान प्रकाश नवल ने आशंका जताई कि एक बच्ची का पैर फिसला होगा तो बाकी तीनों ने बचाने की कोशिश की होगी। उनका भी बैलेंस बिगड़ा और चारों डूब गईं।
दो भाइयों की थी चारों बेटी
पुलिस सूत्रों ने बताया कि थमलाव गांव के सुरेंद्र सिंह और उसके भाई हेमेंद्र सिंह ने अपने खेत के पास एक बड़ा गड्ढा बनाकर पानी जमा किया हुआ था। शनिवार को दोनों भाइयों की 4 बेटियां खेत पर पिकनिक मनाने गई थी। जिनमें सुरेंद्र सिंह की बेटी निशा राजपूत (22) और आशा (24) तथा हेमेंद्र सिंह की बेटी निक्की सिंह (18) तथा चिक्की सिंह (16) शामिल हैं। भाई चारों बहनों को खेत पर पिकनिक मनाने के लिए छोड़कर गया था। कुछ घंटे बाद वह बहनों को लेने पहुंचा था।
उसने गड्ढ़े के पास चप्पलें देखकर परिजनों और ग्रामीणों को सूचना दी थी। शवों को पोस्टमार्टम के लिए रावतभाटा ले जाने की तैयारी की जा रही थी लेकिन परिजनों की मांग पर चारों शवों के पोस्टमार्टम मौके पर ही किए गए। परिजनों का कहना था कि वह शाम ढलने से पहले ही उनका अंतिम संस्कार करना चाहते हैं। बताया गया कि था सुरेंद्र सिंह परिवार सहित रावतभाटा में रहता है और त्योहार की वजह से गांव आया था