पत्नी की मार्फ़त हनीट्रैप का जाल, पत्नी से दोस्ती करवाकर अश्लील वीडियो बनवाता
पाली पुलिस ने हनीट्रैप के एक गिरोह का पर्दाफाश किया है। यह लोगों को फोन कर दोस्ती में फंसाता और अश्लील वीडियो बना कर उन्हें ब्लैकमेल करता था। आरोपी पीड़ितों से गहने, रुपए जो मिलता सब ले लेते थे। एक पीड़ित की रिपोर्ट पर पुलिस ने गिरोह के एक युवक व दो युवतियों को गिरफ्तार किया है। मामले में शेष आरोपियों की पुलिस तलाश में जुटी है। इस गिरोह के जाल में फंसने वालों में सरकारी कर्मचारी, डॉक्टर व वकील तक शामिल हैं। बदमानी के डर से अधिकतर पीड़ितों ने पुलिस में शिकायत नहीं की। आरोपी जिस पत्नी का उपयोग इस गंदे खेल के लिए करता था। आरोपी ने चार महीने पहले ही लव मैरीज की है।
एसपी कालूराम रावत ने बताया कि शहर के एक पीड़ित से गिरोह की महिला ने सोशल मीडिया पर दोस्ती की। फिर मिलने के लिए घर बुलाया। गिरोह से जुड़े युवक ने उसका अश्लील वीडियो बना लिया। इसके बाद बदनाम करने और दुष्कर्म के मामले में फंसाने का डर बनाकर रुपयों की मांग करते रहे। पुलिस ने गिरोह में शामिल नारलाई हाल केशव नगर निवासी 24 वर्षीय रमेश पुत्र मगाराम चौधरी, रमेश की पत्नी भावना उर्फ भारती (24) और दिव्या (27) को गिरफ्तार किया है।
ऐसे पकड़ में आया गिरोह
29 जुलाई को गिरोह के सरगना रमेश की पत्नी भावना हीरागर महिला सुरक्षा सहायता संगठन से जुड़े एडवोकेट चेतन चौहान के पास पहुंची। उसने बताया कि रमेश चौधरी ने उससे 2 अप्रैल को चार महीने पहले ही लव मैरीज की है, जिससे अब वह परेशान हो गई है। महिला सुरक्षा सहायता संगठन के जिलाध्यक्ष कुलदीप पंवार, प्रवक्ता नेहा श्रीमाली अन्य सदस्य उसे एसपी ऑफिस ले गए। एसपी नहीं मिले तो उसे नया बस स्टैंड चौकी ले गए। जहां चौकीप्रभारी ओमप्रकाश चौधरी को सारी कहानी बताई। इधर महिला के मोबाइल पर लगातार उसके पति रमेश चौधरी का कॉल आ रहा था। उसे नया बस स्टैंड के पास बुलाया। जैसे ही वह पहुंचा, पुलिस व संगठन के पदाधिकारियों ने उसे पकड़ लिया
रमेश का मोबाइल खंगाला तो खुले कई राज
कोतवाली पुलिस ने रमेश का मोबाइल खंगाला तो पूरा मामला खुला। आरोपी के मोबाइल में शहर के कुछ लोगों से मारपीट करने और अश्लील वीडियो मिले। कड़ाई से पूछताछ की तो आरोपी रमेश ने बताया कि वह आशिक मिजाज व मालदार लोगों की तलाश करता था। उन्हें फंसाने के लिए पत्नी से सोशल मीडिया पर दोस्ती करवाता। इसके बाद मिलने के बहाने उन्हें घर बुला लेते थे। इस दौरान गिरोह के दूसरे साथी उससे मारपीट कर अश्लील वीडियो बना लेते थे। दुष्कर्म के मामले में फंसाने और सोशल मीडिया पर उनका अश्लील वीडियो वायरल करने की धमकी देकर रुपयों की डिमांड करते थे।
लॉकडाउन में मुंबई से आया गांव
आरोपी रमेश चौधरी पहले मुंबई में काम करता था। लॉकडाउन में गांव आ गया। यहां उसने महिला से लव मैरिज कर ली। पाली में किराए के मकान में रहने लगा। काम नहीं होने के कारण घर खर्च चलाने में भी उन्हें परेशानी का सामना करना पड़ रहा था। इस दौरान वे दिव्या पत्नी भंवरलाल दमामी के संपर्क में आए और लोगों को हनीट्रैप में फंसाकर ब्लैकमेल करने का काम शुरू कर दिया। गिरोह से एक-दो युवतियां और जुड़ी हुई हैं। वह भी पुरुषों को हनीट्रैप में फंसाने का काम करती हैं। पुलिस की जांच में सामने आया कि गिरोह की महिलाएं अनजान नंबर पर कॉल करतीं। अपनी बातों में उन्हें फंसाती। फिर मिलने के बहाने से घर बुलाकर हनीट्रैप का शिकार बनाती थीं।
एक पीड़ित आया आगे, रिपोर्ट में बताई यह कहानी
पीड़ित ने 29 जुलाई को कोतवाली थाने में रिपोर्ट दी। इसमें बताया कि उसके मोबाइल पर दो मई को किसी अनजान लकड़ी का कॉल आया। उसने भूखंड दिखाने की बात कहकर बुलाया। पीड़ित अपने दोस्त के साथ नया बस स्टैंड कार से पहुंचा। जहां उन्हें दो लड़कियां मिलीं। वे उन्हें अम्बेडकर नगर ले गईं। दो अलग-अलग कमरों में दोनों को बैठाया। इस दौरान अचानक कुछ लड़के आए और उसने मारपीट करने लगे। जबरदस्ती उनका अश्लील वीडियो बनाया। इसके बाद दुष्कर्म के मामले में फंसाने और सोशल मीडिया पर वीडियो अपलोड कर बदनाम करने की धमकी देते हुए चार-पांच लाख रुपए मांगे। रिपोर्ट में बताया कि गले में पहनी सोने की चैन और जेब में रखे रुपए भी ले लिए