बैंक सर्वर हैक करने वाली लुटेरी महिलाएं, 7 हजार से डिवाइस से 32 लाख निकाले
जयपुर SOG (स्पेशल ऑपरेशन ग्रुप) ने दो विदेशी लुटेरी महिलाओं को उदयपुर से गिरफ्तार किया था। लुटेरी महिलाओं ने बैंक ऑफ बड़ौदा के सर्वर को हैक करके एटीएम से 32 लाख रुपए निकाल लिए थे। इनसे पूछताछ में कई चौंकाने वाले खुलासे हो रहे हैं। इस संबंध में पड़ताल की तो सामने आया कि देश में पहली बार बैंक के सर्वर को हैक करके ठगी की वारदात की गई है।
ये दोनों महिलाएं 14 जुलाई को जयपुर आई थीं। इसके बाद जयपुर में एक ही ऑटो में घूम कर एटीएम चैक किए। चार दिनों में इन्होंने सर्वर हैक कर 7 हजार रुपए के रास्पबेरी पाई डिवाइस से एटीएम से रुपए निकाल लिए थे। ये दोनों केवल 11वीं तक पढ़ी हुई है। पूरी ट्रेनिंग लेकर ही आई थीं। जयपुर में रुपए निकालने के बाद ये कोटा पहुंचीं। वहां से दोनों उदयपुर चली गईं । कई शहर इनके निशाने पर थे। एसओजी ने उदयपुर से दोनों को गिरफ्तार किया था। दोनों पकड़ी नहीं जातीं तो करोड़ों रुपए लेकर कई बैंकों को लूट कर चली जातीं। फिलहाल एसओजी दोनों को रिमांड पर लेकर पूछताछ कर रही है।
दो दिनों तक जयपुर शहर में ऑटाे लेकर घूमी
नानटोंगो एलेकजेन्ड्रस निवासी युगांडा और लौरा कैथ निवासी गांबिया दोनों 14 जुलाई को दिल्ली से जयपुर आई थी। 14 और 15 जुलाई को दोनों एक ऑटो लेकर पूरे जयपुर में घूमती रही। दोनों ने SBI, ICICI, PNB, HDFC बैंक से लेकर सारे बैंकों के एटीएम सर्च किए। पहले दिन 14 जुलाई को जयपुर शहर से लेकर जगतपुरा तक के सारे एटीएम चैक किए। इसके बाद 15 जुलाई को जयपुर चारदीवारी में इन्होंने एटीएम चैक किए। ये दोनों सारे एटीएम में दो-दो मिनट तक रुकती थीं। दो दिनों में इन्हाेंने कहां और किस एटीएम में ज्यादा रुपए हैं, ये जानकारी जुटा ली थी। एडीजी अशोक राठौड़ और डीआईजी शरद कविराज के निर्देशन में सायबर सेल प्रभारी डीएसपी उमेश निठारवाल व इंस्पेक्टर उम्मेद सिंह सोलंकी मामले की जांच कर रहे
सुबह 7 से 9 के बीच तीन दिन में 32 लाख निकाले
जयपुर शहर में सारे एटीएम चैक करने के बाद दोनों ने दूसरे प्लान पर काम करना शुरू किया। दोनों ने 16 से 18 जुलाई तक महेश नगर, गोपालपुरा, नेहरू पैलेस व सांगानेर में चार एटीएम बूथ से 32 लाख रुपए निकाल लिए। पहले इन्होंने रास्पबेरी-पाई डिवाइस से सर्वर को हैक कर लिया। इसके बाद रुपए निकाल लिए। चिंता की बात है कि बैंक एटीएम के सर्वर को हैक कर लिया गया और कोई सायरन व अलर्ट ही नहीं हुआ। ऐसे में बैंक के सिक्योरिटी सिस्टम पर भी बड़े सवाल खड़े होते हैं। दोनों महिलाएं वेश बदल कर सुबह 7 से 9 बजे के बीच ही ठगी करती थीं। इस दौरान एटीएम में भीड़ नहीं होती थी। काॅम्पलेक्स भी खाली रहते थे। इसी बात का ये फायदा उठाती थीं। एटीएम से रुपए निकालने के बाद बाहर कहीं भी नहीं जाती थीं
भारत में बना रही थी बड़ा नेटवर्क
एसओजी को जांच में पता लगा कि ये दोनों तीन बार भारत आ चुकी हैं। दोनों जून में भी दिल्ली आई थीं। ये ठगी का बड़ा नेटवर्क खड़ा कर रही थीं। ये जयपुर के पोलोविक्ट्री में होटल में रुकी हुई थीं। एसओजी ने होटल मैनेजमेंट से भी पूछताछ की है। ऑटो चालक को भी तलाश कर लिया है। इसी ऑटो चालक के साथ पांच दिनों तक जयपुर में एटीएम खंगालती रही थी और 32 लाख रुपए निकाल लिए थे। एसओजी रुपए को बरामद करने व पूरे नेटवर्क का पता करने के लिए पूछताछ कर रही है
क्या है ये रास्पबेरी-पाई डिवाइस?
रास्पबेरी-पाई डिवाइस एक छोटा सा कम्प्यूटर होता है। ये एक छोटे मदरबोर्ड की तरह होता है। इसकी कीमत करीब 7 हजार रुपए है। एटीएम मशीन को रास्पबेरी-पाई डिवाइस से जोड़कर कमांड दी जाती है। वाईफाई से एटीएम को कनेक्ट कर लेते हैं। इससे नकली बैंक सर्वर तैयार कर लेते हैं। कोई भी कार्ड डाल कर कमांड देकर मशीन से रुपए निकाल लेते हैं। सर्वर हैक होने से बैंक तक अलर्ट मैसेज भी नहीं पहुंच पाता